Minimally invasive cardiac surgery

MICS CABG

एमआईसीएस सीएबीजी या एमआईसीएएस (MICS CABG) का अर्थ है मिनीमली इन्वेसिव कोरोनरी आर्टेरी बायपास सर्जरी और यह भारत में हार्ट या हृदय की बायपास सर्जरी का एक नया प्रकार है। एमआईसीएस कोरोनरी हृदय रोगों के उपचार के लिए कोरोनरी बायपास करने के लिए उन्नत तकनीक साबित हुई है।

एमआईसीएस सीएबीजी क्यों किया जाता है?

मिनिमली इन्वेसिव कार्डियाक सर्जरी को अलग हृदय प्रक्रियाओं के लिए विकल्प के रूप में उपयोग किया जाता है, जैसे कोरोनरी आर्टेरी बायपास सर्जरी, मिट्रल वॉल्व की मरम्मत और प्रतिस्थापन, एनोराइसम की मरम्मत और आदि। आपके चिकित्सा इतिहास, वर्तमान स्वास्थ्य स्थिति, आयु और परीक्षण परिणाम के आधार पर, आपका सर्जन तय करेगा कि आपके लिए कौनसी प्रक्रिया उचित है। पारंपारिक तकनीक के साथ तुलना करने पर एमआईसीएस ने कई लाभ दिखाए हैः

पारंपारिक हृदय सर्जरी के विपरीत, छाती की साइड या किनारों से हृदय तक पहुँचा जा सकता है, इसलिए उरोस्थि या ब्रेस्टबोन को अलग नहीं किया जाता है। यह शल्य चिकित्सा के बाद के दर्द को कम करते हुए काम करता है और श्वास पर सकारात्मक प्रभाव डालता है। आप अपने सामान्य जीवन में वापस लौट सकते हैं और अपने कार्डियोलोजिस्ट की उचित सलाह पर ड्राइविंग और अन्य गतिविधियों को तेज़ी से कर सकते हैं।
रक्त हानि और रक्त संक्रमण के जोखिम को कम करता है, इसलिए रक्त संचार की कम आवश्यकता होती है।
चूंकि चीरा केवल 2 से 3 इंच तक का होता है, इसलिए घाव जल्दी भर जाता है और दिखाई नहीं देता।
पारंपरिक तकनीक की तुलना में अस्पताल में 2 से 3 दिन तक रुकना।
इसे एक सुरक्षित और प्रभावी तकनीक माना जाता है क्योंकि सभी जगहों के ब्लॉक को बायपास किया जा सकता है।

Benefits of MICS CABG

Coronary artery bypass grafting performed through small incision instead of the conventional big mid chest incision.
Minimal blood loss, zero blood transfusion.
Less pain
Started walking the next day after surgery.
Back to his work in next two weeks only.
No scar visible. Avoids social stigma post cardiac surgery.

Patient Experience